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अप्रैल 8, 2020 की पोस्ट दिखाई जा रही हैं

सामाजिक कार्य करना और दूसरों को खुशियां देने के लिए MS KALPANA CRIME REPORTER FORCE TODAY

सामाजिक कार्य करना और दूसरों को खुशियां देने के लिए किए जाने वाले काम एक पुरस्कार या इनाम से कहीं बढ़कर हैं।   लॉकडाउन के दौरान जरूरतमंद लोगों की मदद का सिलसिला जारी है।    कोरोना वायरस (Coronavirus) को लेकर  पूरे देश में 21 दिनों का  लॉकडाउन घोषित कर दिया गया है  और इसका सबसे ज्यादा असर गरीबों और  दिहाड़ी मजदूरों पर पड़ा है.  ऐसे में  गरीबों की मदद के  लिए अपना हाथ बढ़ा रहे हैं. Lockdown के दौरान कोई नहीं रहेगा भूखा, मदद में  सामाजिक संस्थाएं वायरस के संक्रमण से बचाव के बारे में जानकारी भी दी।  जनता को कोरोना वायरस संक्रमण से बचाव के लिए घर के अंदर रहने की हिदायत भी दी।    पूरे क्षेत्र में जरूरतमंदों को चिह्नित किया गया है, जिसके अनुसार ही राशन का वितरण कराया जा रहा है    CRIME REPORTER MS KALPANA FORCE-TODAY     UAM.NO-UK08D0004766       लॉकडाउन का पालन कर हरा सकते हैं कोरोना को   FORCE-TODAY

झूठा है सुप्रीम कोर्ट द्वारा कोरोनावायरस से जुड़ी जानकारी शेयर करने पर रोक लगाने का दावा FORCE-TODAY

कई दिनों से सोशल मीडिया में एक मैसेज वायरल किया जा रहा है। इसमें लिखा है- ‘ आज रात 12 बजे से देशभर में डिजास्टर मैनेजमेंट एक्ट लागू हो चुका है। इसके बाद सरकारी विभागों को छोड़कर अन्य कोई भी नागरिक कोरोनावायरस से संबंधित किसी भी तरह की जानकारी शेयर नहीं कर सकेगा। ऐसा करने पर कानूनी कार्रवाई होगी। वायरल मैसेज में वॉट्सऐप ग्रुप एडमिंस को भी सलाह दी गई है कि वे यह मैसेज अपने ग्रुप में फॉरवर्ड कर दें।’  इस मैसेज के साथ ही न्यूज वेबसाइट लॉइव लॉ की लिंक भी वायरल की गई है। लाइव लॉ ने खुद अपने आधिकारिक  ट्विटर हैंडल  से इस वायरल दावे का खंडन किया है। वेबसाइट की तरफ से किए गए ट्वीट में लिखा है कि लाइव लॉ की रिपोर्ट के साथ एक फेक मैसेज वॉट्सऐप ग्रुप में वायरल किया जा रहा है। कृपया इसे साझा न करें।            भारत सरकार के पत्र सूचना कार्यालय (पीआईबी) ने भी वायरल दावे का खंडन करते हुए  ट्वीट किया  कि, सरकार द्वारा कोविड-19 को लेकर किसी भी तरह की जानकारी शेयर करने पर रोक लगाने का दावा करने वाला मैसेज  फर्जी है।...