वायरल हो रही पुराने टीवी-रेडियो में लगने वाली रेड मरकरी , इससे बम बनाने और देश से गद्दारी के झूठे दावे किए जा रहे
वायरल: सोशल मीडिया पर दावा किया जा रहा है कि पुराने टेलीविजन के अंदर मौजूद एक मर्करी ट्यूब का उपयोग परमाणु बम बनाने में हो सकता है। दावे के साथ लाल रंग के ट्यूब की एक फोटो भी शेयर की जा रही है।
मैसेज में लोगों से अपील की गई है कि अगर कोई आपकी टीवी महंगे दाम में खरीद रहा है तो पैसे के लालच में देश से गद्दारी न करें।
- ऐसा कभी नहीं देखा कि टेलीविजन के किसी भी पार्ट का किसी अन्य काम में उपयोग किया जा सके। परमाणु बम बनाना तो बहुत दूर की बात है। बात करें फोटो में दिख रहे उस ट्यूब की, जिसे सोशल मीडिया पर मर्करी बताया जा रहा है। तो ये डायोड और ट्रायोड वॉल्व हैं।
- 1970-1980 तक ट्रांजिस्टर के अविष्कार से पहले रेडियो और टीवी में डायोड और ट्रायोड वॉल्व का ही इस्तेमाल किया जाता था। आज के दौर में यह इतना आउटडेटेड है कि इसके बारे में इंजीनियरिंग के छात्रों को पढ़ाया भी नहीं जाता।
- ट्रायोड और ड्रायोड नाम के इन वैक्यूम ट्यूब्स का परमाणु बम से कोई संबंध नहीं है। न ही अब तक ऐसा कोई शोध हुआ है, जिसमें सामने आया हो कि इनका उपयोग कोई विस्फोटक सामग्री बनाने में किया जा सकता है।
- वायरल मैसेज में किया जा रहा एक भी दावा लॉजिकल नहीं है।
- बीतें दिनों मेमोरेंडम से जुडी हर खबर की पड़ताल के बाद ऐसा कोई आदेश नहीं मिला जिससे पुष्टि होती हो कि वित्त मंत्रालय ने सभी सरकारी नियुक्तियों पर प्रतिबंध लगाने का फैसला लिया है।
- विभाग की ऑफिशियल वेबसाइट चेक की। वेबसाइट पर 4 सितंबर को जारी किया गया वही मेमोरेंडम हमें मिला, जो वायरल हो रहा है। इससे ये स्पष्ट हुआ कि मेमोरेंडम फेक नहीं है।
- लेकिन, इस मेमोरेंडम में ऐसा कहीं नहीं लिखा है कि अब सरकारी कर्मचारियों की नियुक्ति नहीं होंगी। हां, दूसरे पन्ने पर यह जरूर लिखा है कि व्यय विभाग की अनुमति के बिना किसी भी सरकारी मंत्रालय/ विभाग में अब नए पदों का सृजन नहीं किया जाएगा।
- वित्त मंत्रालय ने 5 सितंबर को ट्वीट करके मेमोरेंडम को लेकर फैल रहे कन्फ्यूजन पर स्पष्टीकरण भी दिया है। ट्वीट का हिंदी अनुवाद है: भारत सरकार में पदों को भरने पर कोई मनाही या प्रतिबंध नहीं है। एसएससी, यूपीएससी, आरआरबी जैसी सरकारी एजेंसियों के जरिए भर्ती प्रक्रिया जारी रहेगी।
- इन सबसे स्पष्ट है कि सरकारी कर्मचारियों की नियुक्तियों पर बैन लगने वाला दावा झूठा है। व्यय विभाग ने सरकारी विभागों में नए पदों के सृजन पर रोक लगाई है। इसको लेकर जारी किए गए मेमोरेंडम का गलत अर्थ निकालकर अफवाह फैलाई जा रही है।
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बॉलीवुड में फिर से #MeToo
बॉलीवुड में जारी बहस में बढ़ चढ़कर हिस्सा लेने वाले फिल्ममेकर अनुराग कश्यप पर एक्ट्रेस पायल घोष ने यौन शोषण के गंभीर आरोप लगाए हैं। एक्ट्रेस ने एक तेलुगू न्यूज चैनल को दिए एक इंटरव्यू के दौरान ये बड़ा खुलासा किया था। अब उन्होंने खुद सोशल मीडिया के जरिए अपनी आपबीती सुनाते हुए पीएम नरेंद्र मोदी से मदद मांगी है।
पायल घोष में ट्विटर पर अपना इंटरव्यू शेयर करते हुए लिखा, 'उन्होंने काफी बुरी तरह खुद को मुझ पर फोर्स किया और बेहद बुरी तरह से। पीएमओ इंडिया, नरेंद्र मोदी जी प्लीज एक्शन लीजिए और देश को इस क्रिएटिव इंसान के पीछे छिपा हुआ राक्षस दिखाइए। मैं जानती हूं कि इससे मुझे नुकसान हो सकता है और मेरे सुरक्षा भी खतरे में पड़ सकती है। प्लीज मदद करें'।
जबरदस्ती शारीरिक संबंध बनाना चाहते थे अनुराग कश्यपः पायल
तेलुगू न्यूज चैनल एबीएम को दिए इंटरव्यू में एक्ट्रेस ने बताया कि उनके साथ ये घटना 2014 या 2015 में हुई थी मगर उस समय वो डर के चुप रहीं। एक्ट्रेस ने बताया कि वो काम के सिलसिले में अनुराग से मिलने गई थीं जहां फिल्ममेकर अकेले कमरे में ले जाकर उनके साथ जबरदस्ती शारीरिक संबंध बनाने की कोशिश कर रहे थे। जब पायल ने उन्हें रोकना चाहा और कहा कि वो मेंटली इसके लिए तैयार नहीं है तो अनुराग का कहना था कि उनके साथ काम कर चुकीं सभी एक्ट्रेस महज एक फोन कॉल की दूरी पर हैं। इसके बावजूद जब एक्ट्रेस ने मना किया तो वो अनुराग ने उनसे जबरदस्ती करने की कोशिश की। बाद में दोस्तों के समझाने पर एक्ट्रेस ने इसकी शिकायत नहीं की थी।
कौन है पायल घोष ?
पायल घोष बांग्ला मूल की एक्ट्रेस हैं और ज्यादातर कन्नड़ फिल्मों में काम करती हैं। बॉलीवुड में पायल ने ऋषि कपूर और परेश रावल अभिनीत 2017 की कॉमेडी फिल्म, पटेल की पंजाबी शादी से डेब्यू किया था। एक्ट्रेस फिलहाल हिंदी फिल्म कोई जाने ना का हिस्सा हैं। फिल्मों के अलावा पायल स्टार प्लस के पॉपुलर शो साथ निभाना साथिया का भी हिस्सा रह चुकी हैं। एक्ट्रेस ने इस शो में साल 2016 में राधिका का किरदार निभाया था।
कंगना भी आई पायल के सपोर्ट में
अनुराग कश्यप के साथ बीते दो दिन से ट्विटर पर भिड़ रहीं कंगना रनोट भी पायल के सपोर्ट में उतर आई हैं। उन्होंने पायल के ट्वीट को रीट्वीट करते हुए लिखा है कि, हर आवाज मायने रखती है। इसके साथ ही कंगना #MeToo और #ArrestAnuragKashyap हैशटेग भी शेयर किए हैं।
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फेक न्यूज
क्या मोदी सरकार अब किसी को नहीं देगी सरकारी नौकरी? वित्त मंत्रालय के एक लेटर से सोशल मीडिया पर माहौल गर्म-
no ban govt job declaration by finance ministry
वायरल : सोशल मीडिया पर दावा किया जा रहा है कि केंद्र सरकार ने सभी सरकारी भर्तियों पर प्रतिबंध लगा दिया है। अब किसी भी सरकारी विभाग या मंत्रालय में कर्मचारियों की नियुक्ति नहीं होगी। ऐसे कई मैसेज फेक न्यूज एक्सपोज टीम को वॉट्सऐप और ईमेल पर मिले हैं।
मैसेज के साथ दो पन्नों के लेटर की कॉपी भी वायरल हो रही है। बताया जा रहा है कि लेटर की शक्ल में ये मेमोरेंडम वित्त मंत्रालय के व्यय विभाग ने 4 सितंबर को जारी किया है।
और सच क्या है ?
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